अगर आप झारखंड के हालिया राजनीति या विकास की बात कर रहे हैं तो सबसे पहले मुख्यमंत्री का नाम याद आएगा। राज्य का मुख्य कार्यकारी अधिकारी यानी मुख्यमंत्री, सरकारी नीतियों को जमीन पर लाने और लोगों की समस्याओं का समाधान करने में अहम भूमिका निभाता है। इस पेज में हम उनके काम, ज़िम्मेदारियां और अभी चल रही कुछ प्रमुख योजनाएं आसान भाषा में समझेंगे, ताकि आप जल्दी से जानकारी ले सकें।
झारखंड के मुख्यमंत्री का सबसे बड़ा काम है राज्य की प्रशासनिक व्यवस्था को सुचारु रखना। वह प्रत्येक विभाग के मंत्री से मिलकर बजट तय करता, नयी नीतियों पर चर्चा करता और उन्हें लागू करवाता है। शिक्षा में सुधार, स्वास्थ्य सेवाओं का विस्तार, बुनियादी ढाँचे का निर्माण – इन सबका जवाबदेह वही होता है। साथ ही वह राज्य की आर्थिक नीति बनाकर निवेश को आकर्षित करने के लिए भी काम करता है, क्योंकि झारखंड में खनन और कृषि दोनों बड़ा योगदान देते हैं।
राज्य में आपदा प्रबंधन भी मुख्यमंत्री की प्राथमिकता में रहता है। चाहे बाढ़ हो या सूखा, सरकार तुरंत राहत उपायों को सक्रिय करती है। इस दौरान वह केंद्र सरकार से मदद माँगता, स्थानीय प्रशासन के साथ मिलकर बचाव कार्य करता और प्रभावित लोगों को पुनर्वास के लिए योजना बनाता है।
पिछले कुछ महीनों में झारखंड ने कई नई परियोजनाएँ शुरू की हैं। सबसे प्रमुख है "जल जीवन मिशन" – जिसका मकसद हर गाँव तक साफ़ पानी पहुँचाना है। इस योजना के तहत नयी टैंक, पाइपलाइन और जलशोधन संयंत्र बनाये जा रहे हैं, जिससे ग्रामीण इलाकों में पानी की कमी दूर होगी।
स्वास्थ्य क्षेत्र में "मुख्यमंत्री स्वास्थ्य कार्ड" लाँच किया गया है, जो गरीब परिवारों को मुफ्त दवा और जांच का अधिकार देता है। इस कार्ड से अस्पताल में नयी सुविधाएँ मिल रही हैं, जैसे टेली‑मेडिसिन सेवाएं और मोबाइल क्लीनिक।
शिक्षा के लिए "डिजिटल कक्षा" योजना शुरू हुई है, जिसमें हर स्कूल को स्मार्ट बोर्ड, इंटरनेट और ऑनलाइन लर्निंग टूल्स प्रदान किए जा रहे हैं। इससे छात्रों को नई तकनीक से सीखने का मौका मिल रहा है और दूरस्थ गांवों में भी क्वालिटी एजुकेशन पहुँच रही है।
खानिज क्षेत्र में पर्यावरण संरक्षण को ध्यान में रखते हुए "सतत खनन नीति" लागू की गई है। इस नीति के तहत कंपनियों को हर साल पर्यावरणीय बंधन मानने, वनीकरण करने और स्थानीय समुदाय को रोजगार देने की शर्तें लगाई गई हैं। इससे आर्थिक विकास के साथ-साथ पारिस्थितिकी तंत्र भी सुरक्षित रहेगा।
इन सभी पहलों का मुख्य उद्देश्य झारखंड को बेहतर बनाना है – चाहे वह रोज़मर्रा की ज़िंदगी हो, शिक्षा‑स्वास्थ्य हो या रोजगार के अवसर। अगर आप इन योजनाओं में से किसी एक के बारे में और गहराई से जानना चाहते हैं, तो हमारे नीचे दिए गए लेखों को पढ़ सकते हैं। मुख्यमंत्री का हर कदम सीधे आपके जीवन को प्रभावित करता है, इसलिए अपडेटेड रहना फायदेमंद रहेगा।
झारखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन को मनी लॉन्ड्रिंग केस में झारखंड हाई कोर्ट से जमानत मिलने के बाद बिरसा मुंडा सेंट्रल जेल से रिहा कर दिया गया है। उन्हें प्रवर्तन निदेशालय ने 31 जनवरी को भूमि घोटाले के सिलसिले में गिरफ्तार किया था। हाई कोर्ट ने सोरेन की जमानत याचिका मंज़ूर करते हुए 50,000 रुपए का जमानती बॉन्ड जमा करने का आदेश दिया।
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